Now Reading
गिटार का आविष्कार

गिटार का आविष्कार

Avatar

1.गिटार की खोज आठवीं शताब्दी के आसपास हुई थी. माना जाता है कि गिटार की खोज सबसे पहले यूरोप में हुई थी. तब इसे वीणा के नाम से जाना जाता था. इधर कई लोगों का यह भी मत है कि गिटार की खोज प्राचीन ग्रीक में हुई.

2.आम धारणा है कि उस दौर के लोगों को संगीत का काफी शौक था. वह संगीत को बजाने व् सुनने के लिए तरह तरह   के यंत्र खोजते व् बनाते थे

3.इसी प्रकार लकड़ी पर तार बाँधा गया तो उसमे से मधुर आवाज़ आने लगी इस प्रकार इसका आविष्कार हुआ था 

4.पहले एक तार फिर भारतीय वीणा से निकलने वाले सारे स्वरों को इसमें जड़ा गया इन स्वरों को जड़ने क लिए इसमें कई तरह के बदलाव किए गए जिससे यह गिटार क रूप म सामने आया

5.गौरतलब हो कि प्राचीन ग्रीक में गिटार को कितारा कहा जाता था. बाद में यह शब्द दुनिया के सभी देशों में गिटार के नाम से मशहूर हो गया.

6.गिटार को दो प्रमुख श्रेणी में बांटा गया है. एक श्रेणी में ध्वनिक गिटार तो दूसरी श्रेणी में इलेक्ट्रानिक गिटार. अविष्कार के बाद से ध्वनिक गिटारों का चलन काफी रहा है.

7.ध्वनिक गिटारों में सभी वह गिटार आते हैं, जो हाथों से तैयार कर बनाए जाते थे.

See Also

8.ध्वनिक गिटारों में एक बात यह खास थी कि संगीतकार अपनी मर्जी के अनुरुप गिटार में स्ट्रिंग यानि के तार डालकर उसे बजाता था. हालांकि, ध्वनिक गिटार की आवाज थोड़ी धीमी ज़रुर होती थी, लेकिन संगीत में ध्वनिक गिटारों की धुन संगीत में एक नई जान डाल देती थी.

 आधुनिकता के दौर में लोगों का रूझान पॉप सिंगिंग की ओर जाने लगा.

9.शास्त्री संगीत में गिटार सुनने के बाद लोग गिटार को पॉप सिंगिंग में सुनना पसंद करने लगे थे. इस तरह इलेक्ट्रिक गिटार के बाद संगीत की पूरी परिभाषा ही बदल गई.

10.इलेक्ट्रिक गिटार की सबसे बड़ी खास बात यह थी कि इसमें एक ही समय में कई सारी धुनों को खोजा जा सकता था. इसके साथ ही इस गिटार में नायलॉन के तारों का इस्तेमाल होता था, जिससे इसकी धुनों की आवाज ध्वनिक गिटारों के मुकाबले काफी तेज होती थी.

What's Your Reaction?
Excited
0
Happy
0
In Love
0
Not Sure
0
Silly
0
View Comments (0)

Leave a Reply

Your email address will not be published.

Scroll To Top